shabd-logo

जटायु से श्रीराम प्रभु की भेंट

25 February 2024

18 Viewed 18

 सीता को खोजते - खोजते राम एवं लक्ष्मण वहां पहुंचे जहां जटायु घायल पड़ा हुआ था। जटायु की पुकार पर राम जटायु के पास पहुंचे तो जटायु ने रावण द्वारा सीता अपहरण का समाचार राम को दिया।राम ने जटायु जी को अपनी गोद में लेकर बोले," हे पक्षीराज! आपने मेरे लिए अपने प्राणों को न्यौछावर कर दिया।"

              इसपर जटायु बोले," प्रभु ! आप मेरी चिंता छोड़कर देवी सीता मैया को उस दुष्ट राक्षस से बचाइए। दुष्ट रावण उन्हें आकाश मार्ग से दक्षिण दिशा की ओर ले गया है। वहां समुद्र के बीच सोने की लंका है।वह  वहां का राजा है। वह सीता को वहीं  ले  गया होगा।" यह कहते कहते श्रीरामजी के गोेद में हीं जटायु ने प्राण त्याग दिए। श्रीराम ने अपने हाथों से जटायु का अंतिम संस्कार किया और  दक्षिण दिशा की ओर चल दिए।

More Books by सिक्किम की यादें

1

सीता अपहरण------

10 July 2023
0
0
0

नाक कटवाकर कुरूप बनी शूर्पणखा अपने भाई रावण के पास पहूंची और उसे अपना दुखड़ा सुनाया। रावण मारीच के पास गया।वह मायावी मृग बनकर राम की कुटिया के पास घूमने लगा। सीता ने राम को उसे पकड़ लाने को कहा।

2

बडी- बड़ी शादियां रिसोर्ट में,एक दिखावा

18 December 2023
0
0
0

~ *रिसोर्ट मे विवाह* एक नई सामाजिक बीमारी,कुछ समय पहले तक शहर के अंदर मैरिज हॉल मैं शादियाँ होने की परंपरा चली परंतु वह दौर भी अब समाप्ति की ओर है!अब शहर से दूर महंगे रिसोर्ट में शादियाँ

3

यूं हीं रात बस गुज़र न जाए कहीं

29 December 2023
0
0
0

यूं हीं रात बस गुज़र न जाए कहीं कुछ तो दिल की बातें कर लोबस कई , पिछले रातों के सपने कीगुजरे पल के पल- पल कीकुछ यूं हीं आम या कुछ खास बातें कर लो... तो सही यूं हीं रात बस गुज़र न जाए क

4

कहीं, यूं हीं रात बस गुज़र न जाए...

1 February 2024
0
0
0

यूं हीं रात बस गुज़र न जाए कहीं कुछ तो दिल की बातें कर लोबस कई , पिछले रातों के सपने कीगुजरे पल के पल- पल कीकुछ यूं हीं आम या कुछ खास बातें कर लो... तो सही यूं हीं रात बस गुज़र न जाए क

5

जटायु से श्रीराम प्रभु की भेंट

25 February 2024
0
0
0

सीता को खोजते - खोजते राम एवं लक्ष्मण वहां पहुंचे जहां जटायु घायल पड़ा हुआ था। जटायु की पुकार पर राम जटायु के पास पहुंचे तो जटायु ने रावण द्वारा सीता अपहरण का समाचार राम को दिया।राम ने जटायु जी

6

शबरी से श्रीराम प्रभु - तथा भाई लक्ष्मण से भेंट

26 February 2024
0
0
0

श्रीराम जी सीता मैया की खोज में वन- वन भटकते हुए आगे बढ़ने लगे।एक वन में कबंध नामक राक्षस रहता था। पूर्व जन्म में वह एक गंधर्व था। परन्तु दुर्वासा ऋषि के शाप से उसे राक्षस योनि प्राप्त हुई थी। र

---