Meaning of जहाज़ का पहलू in English
- A ship's side; hence, by extension, a ship; -- found chiefly in adverbial phrases; as, on shipboard; a shipboard.
Meaning of जहाज़ का पहलू in English
English usage of जहाज़ का पहलू
Synonyms of ‘जहाज़ का पहलू’
Antonyms of ‘जहाज़ का पहलू’
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चलो उम्र ना सही,
मेरा एक लम्हा तो सवारा है तूने,
वादा किए आखिरी सास तक की,
पर होते ही उड़ गए...
चलो जिंदगी का,
एक पल तो गुजारा है तूने ।
तबाह कर गया मुझको,
लब्जों मे बया भी नही कर सकता,
किया कितना खसारा है तूने,
पतझड़ का मौसम हो गयी है जिंदगी,
मेरा छीना एक - एक सहारा है तूने ।
मेरी मुश्किलें... उम्र के साथ
बढ़ती जा रही है,
कैसे कह दूँ...
दर्दों से मुझको उबारा है तूने,
जो तुम चल दिये..
अपनी यादों को भी लेकर जाते,
खुद को बसाकर...
अपने दिल से मुझको, नकारा है तूने ।
ये हवाएँ... ये फिजायें...
खुशबु नही लाती... अब...
पहले की तरह,
लगता है गुलशन को भी
बदन से उतारा है तूने,
वो लबों की मुश्कान तेरी...
ख्वाबों मे भी दिल को चिर जाती है,
जाने क्यूँ... और कैसे...
मेरी मोहब्बत को, किया किनारा है तूने ।
वफा, एहतराम.. जो कुछ भी है,
तेरे - मेरे दरमियाँ.. इश्क़ में
सारा का सारा.. हमारा है,
ऐ साथी , साथ छोड़ जाना तेरा,
हर शाम गुजारती है मयखाना मेरा,
संभलना कहीं तुझे भी
कोई छोड़ ना जाए...
किया गलत इशारा है तूने ।
वादा किये आखिरी सास तक की
पर होते ही उड़ गए,
चलो जिंदगी का....
एक पल तो गुजारा है तूने..... ।।
✍️ Author Munna Prajapati
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- #poetry कितना अजीब है, मेरा मेहबूब,
कांटे लगाकर कहता है गुलाब आयेंगे,
चुल्लू भर पानी में शैलाब आयेंगे,
बिछड़कर मुझसे केहता है याद आयेंगे,
बरस रहा है मोहब्बत का सावन और
वो केहता है मौसम के बाद आयेंगे ।।
वक़्त गुजार रही हूँ तन्हाइयों मे,
मेरा हैंडर्ड मुस्कुराता हुआ कहता है
और अतायेंगे...
मिलना है कहकर मिलने नही आयेंगे ।।
इस कदर हम याद तुझको आयेंगे
तेरे जिशम् के रग रग में बस जायेंगे,
गर जुदा करना चाहा खुदसे मुझको,
जायेंगे तुमसे दूर मगर
जिस्म से रूह जस जायेंगे ।।
कोई जबाब नही देता मेरे खत का
कहता है बस... यही ज्ञान आयेंगे,
कांटे लगाकर केहता है गुलब् आयेंगे,
चुल्लू भर पानी में शैलाब आयेंगे ।।
✍️ Author Munna Prajapati
#post #poem #writer #sad #virals #new #love #life #poetrylovers
- अपने किसी पद का तू
- #poetry हम लोगों को सुधारने निकले...
लोगों को सुधारने निकले थे,
हम खुद ही बिगड़ के रह गए,
जल शैलाव आया, सब डूब रहे थे,
हम लोगों को बचाने निकले,
किसी को किनारे पे लाकर छोड़ा,
खुद ही बह गए ।
जो बात हम जुबान पर लाने में भी,
सोचते थे, वो बात , वो हमसे,
बगैर हिच किचाहट के कह गए ।
क्या गजब का जहर था,
सुनकर जुबानी उनकी, हम तो
खड़े के खड़े ही रह गए ।
अज्ञानता का अंधकार मन मे ,
पनप रहा था, हम सवारने चले,
खुद अज्ञानी बन के रह गए ।
हमने सिखायी ईमानदारी, कहा गए,
लोग बेईमानी पे उतर गए ।
लोग बाग सब बिगड़े, हमने सोचा
के लोग अब सुधर गए ।
लोगों को सुधारने निकले थे,
हम खुद ही बिगड़ के रह गए ।
~ Munna Prajapati
#truth #life #virals #sad #post #writer #writing #love #poetrylovers #poem
- #poetry " कोई साथ चलने वाला नहीं "
दर्द मे दिलाशा हर कोई देता है मगर,
साथ देने वाला कोई नहीं ।
आज समय अच्छा चल रहा है,
मौज है, खुशी है, हर कोई साथ है, अपना है,
बुरे वक़्त मे कोई साथ चलने वाला नहीं ।
लोग हाथ थामते हैं उम्र भर के लिए,
मगर वो भी कब छोड़ दे,
कोई कहने वाला नहीं ।
मै तो कहता हूँ दोस्त, खुशियोँ मे उसे,
उसे बुलाओ ही नही जो साथ
हर गम सहने वाला नहीं ।
क्या शामी, क्या शिखर और क्या हार्दिक
पांड्या, यार जो पैसा और सफलता का
चाह रखता हो वह...
किसी के साथ रहने वाला नहीं ।
उसे तो केवल ऐसो आराम चाहिए,
उसे तुम्हारे गम में, उदास चेहरे लेकर,
सहने वाला नहीं..... ।
आप रुक सकते हो, उतर सकते हो,
रिश्तों का मोड़ देखकर मगर..
वह हरगिज उतरने वाला नहीं ।
✍️ Author Munna Prajapati #virals #life #reality #beocken #sad #poem #hindi #lovestory #loveyou #writer #writing
- #hindi #lyrics खुमारी है जिश्म का...
टूट जाते हैं दिल, सुख जातीं हैं आखों में पानी,
लोग बदल जाते हैं , रह जाती है अधूरी कहानी,
मै तो बेहेक गया , तुम ना बेहेक जाना,
बुरी एक बीमारी है ...इश्क़ का ,
बस एक खुमारी है...जिश्म का..... ।
बिन अब उसके, मै जी ना सकूँगा,
तन्हा अकेला गम के आँशु, मै पी ना सकूँगा ।
चाह कर भी, कुछ कर नही पाता,
ये कैसी लाचारी है.. इश्क़ का,
बुरी एक बीमारी है... इश्क़ का
बस एक खुमारी है... जिश्म का....।
सांस तो चल रही है, पर जिंदा लाश बन गया हूँ,
जो बीत जाती है, हाय वो काश हो गया हूँ ।
क्यूँ कोई हाथ थामकर, नही निभाता,
ये कैसी रिश्तेदारी है.. इश्क़ का,
बुरी एक बीमारी है.. इश्क़ का..
बस एक खुमारी है.. जिश्म का.... . ।
टूट जाते हैं दिल, सुख जातीं हैं आखों में पानी,
लोग बदल जाते हैं , रह जाती है अधूरी कहानी...
मै तो बेहेक गया.....
✍️ Author Munna Prajapati
#life #virals #love #PostViral #writer #songs #songlyrics #hit #singer #post
नोट :- यदि आप इस गीत को व्यापारिक तौर पर रिकॉर्ड करके रिलीज करना चाहते हैं तो कर सकतें है परंतु हमारी अनुमति लेने के बाद । हमारी अनुमति अनिवार्य है । धन्यवाद🙏
- 🇮🇳🇮🇳#HappyIndependenceDay #indian #lyrics इसे आजाद रखना... 🇮🇳🇮🇳🇮🇳🇮🇳जय हिंद
आप सबसे कुछ नहीं है कहना,
हम सबको मिल जुल कर है रहना - २
तिरंगे का लाज रखना.. ..
फुट मत होने देना, याद रखना,
सब कुछ खोकर भी, इसे आजाद रखना... ..... ।
तुमने कुछ तो हमने भी कुछ,
हम सबने बहोत कुछ खोया है...
पूत का लथपथ लाश को लेकर,
हमारी माओं ने कितना रोया है.... २।
अब तुम ,भूल मत जाना,
ना तुम, अपनो का खून बहाना,
ये जमी फिर लहू लुहान ना हो,
प्रीत से सिच कर,, आबाद रखना...
सब कुछ खोकर भी, इसे आजाद रखना.... ।
ये धरती है सोने की चिड़िया,
है कीमती एक कण भी नही खोना... २
हम भारत वासी हैं एक बंद मुट्ठी,
शान है ये जान हमारी नहीं कोई खिलौना... २।
भगत सिंह का सूली चढ़ जाना,
जोश बोस का डटकर आगे बढ़ जाना,
हमे आपस में लड़ाकर ही गुलाम किया
फिर कोई ना लूट जाए,,
ये जहाँ हमेशा जिंदाबाद रखना....
सब कुछ खोकर भी, इसे आजाद रखना...।
✍️ Author Munna Prajapati
आप सभी देशवासियों को स्वतंत्रता दिवस की हार्दिक शुभकामनाएं.. 🙏🇮🇳 जय हिंद जय भारत
नोट : यदि आप इस गीत को व्यापारिक तौर पर रिकॉर्ड करके रिलीज करना चाहते हैं तो कर सकतें हैं परंतु हमारी अनुमति लेने के बाद... हमारी अनुमति अनिवार्य है । धन्यवाद🙏
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- #poetry " दोस्तों के साथ की जिंदगी "
ओहो.. कैसे थे हम... और कैसे हो गए,
वो वक़्त अब शायद...कहीं खो गए,
वक़्त बीते और हम बिछड़े...
उड़ गए कहीं हमारी खुशियोँ के चिथड़े ।
कैसे मिलकर हम शोर मचाया करते थे,
ये मेरी है, वो तेरी है.. कहकर...
एक दूसरे को रिझाया करते थे,
कड़क सर्दी और कड़क धुप मे साथ
पढ़ने जाया करते थे...
कोई छोटा कोई बड़ा नही, एक ही
थाली मे खाया करते थे... ।
किसी की शादी हो गयी तो
कोई कवारा है...
कोई जिम्मेदारियों से जूझ रहा
तो कोई गलियों का आवारा है,
कोई बन गया शाहब तो कोई
बेरोजगारी का मारा है... ।
दूर हो मजबूर हो मगर, ये दोस्ती
दिल मे कायम रखना,
कभी तो मिलेंगे किसी मोड़ पर,
सोचना, जगना और राह तकना,
कितने जागे और कितने सो गए,
जगह बदला और समय बदला,
जो हमारे थे, वो किसी और के हो गए ।
~ ऑथोर मुन्ना प्रजापति
#post #Poem #writer #poetrylovers #virals #hindi #life #friendship #friends #friendshipgoals
- #lyrics #bhojpuri अचके रे हंशा उड़ गईले.....
जाने कईसन ई संजोग बा,
केहु ना जाने, जिनगी मे का जोग बा.. २
सबका से रिश्ता नाता तुड़ गईले.. २
अचके रे हंशा उड़ गईले... २
जाने का भईल हउवे, सभे बा सोच मे,
अभी कताना उमरिए रहल हs,
पर गईले कईसे दुखवा के प्रकोप में...२
साथहिं मे साथ अबसे बी छुड़ गईले... २
अचके रे हंशा उड़ गईले.... २
चार दिन के जिनगी बाटे, चल गईले
कईसे छोड़ी एके दिन मे ,
सुत गईले पंछी ,हमेशा ला
एक ही रे...नींन मे.... २
एतना करीब रहते सबसे दूर भईले... २
अचके रे हंशा उड़ गईले...... २
साचे हs बतिया रचित,
केहु के ना ठीक बा,
जवन हो गईल ओहके अपनवले
निक बा... २
केहु बिछड़ले तs, कहीं पे जुड़ गईले...२
अचके रे हंशा उड़ गईले..... २
✍️ Author Munna Prajapati
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नोट : यदि आप इस गीत को व्यापारिक तौर पर रिकॉर्ड करके रिलीज करना चाहते हैं तो कर सकतें है परंतु हमारी अनुमति लेने के बाद, हमारी अनुमति अनिवार्य है । धन्यवाद🙏 +९१७८९७८६८६२५
- #poetry संभल कर रहना...
संभल कर रहना, भलाई का जमाना
अब नही रहा,
हमने जिसे समंदर में डूबने से बचाया,
वही हमे भवर मे छोड़ गया ।
बोली लग रही थी जिसकी जिश्म की
छुट्टे जोड़कर जिसको बचाया
वही हमे बाजार में बेचकर चला गया ।
जिसे हमने सिचकर, तरासकर, पौधे से
वृक्ष बनाया वही हमारे झोपड़ी को
उजाड़ कर चला गया ।
सड़क से नांगा उठाया था जिसको
आज वही हमे भिखारी बता कर चला गया ।
जिसको कभी इश्क़ करना सिखाया था
हमने, आज उसने हमे सबक सिखाकर
चला गया ।
खुद का निवाला खिलाकर बड़ा किया
जिसको, आज वही मेरे आगे से खाने
की थाली छीन कर चला गया ।
जिस अंधे को अपनी आँखे दी हमने,
आज वही हमे अंजान कहकर चला गया ।
कभी भगवान् था मै भी किसी के नजरों मे
आज वही हमे शैतान कहकर चला गया ।
आज प्रेम के रिश्ते शर्तों पर चल रहे हैं,
वो सात फेरों और सात जन्मों का
बंधन चला गया ।
भूल गए सभी के पति पर्मेश्वर है,
हर पत्नी के मन से पिया का वंदन
चला गया ।
एक रोज हमने जिसे गिरने से बचाया,
आज वही हमे गिराकर चला गया ।
जिसके हम हमेशा ज़ुबाँ पे रहते
सोते , जागते,
आज वही हमे भुलाकर चला गया ।
संभल कर रहना, भलाई का जमाना
अब नही रहा,
जिसके लिए हम सच्चे थे, वही हमे
झुठलाकर चला गया ।
~ मुन्ना प्रजापति
#life #love #writer #struggle #post #postviral2024 #motivation #sad #truth #talk #talkshow #writing
- #lyrics #ghazal क्यूँ बिछड़ गए हम...
दिन हो या रात, दिल को तो बस,
तुम्हारा मलाल आया,
क्यूँ बिछड़ गए हम, जेहेन् मे बस,
ये शवाल आया ।
एक रोज हमने, कसम ली थी,
एक दूजे का हाथ नही छोड़ेंगे कभी,
दूर हो गए तब ये खयाल आया...
क्यूँ बिछड़ गए हम , जेहेन् मे बस
ये शवाल आया..... ।
जब निभाना नहीं था तो,
करीब आने की जरूरत क्या थी,
बरसे नयन गम बेमिशाल आया.....
क्यूँ बिछड़ गए हम, जेहेन् मे बस
ये शवाल आया... ।
जब तुम्हे इन नजरों ने देखा,
तुम्हे चाहा और दिल मे बसाया,
ये ना सोचा जो जमाल (आफत)आया....
क्यूँ बिछड़ गए हम, जेहेन् मे बस
ये शवाल आया.... ।
दिल लगाने की सजा क्या खूब पाया,
तुमने उम्र भर तड़पाया,
तोड़ने का तरकीब कमाल आया...
क्यूँ बिछड़ गए हम, जेहेन् मे बस
ये शवाल आया....... ।
✍️ Author Munna Prajapati
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नोट : यदि आप इस गीत को व्यापारिक तौर पर रिकॉर्ड करके रिलीज करना चाहते हैं तो कर सकतें हैं परंतु हमारी अनुमति लेने के बाद, हमारी अनुमति अनिवार्य है । धन्यवाद🙏 +९१७८९७८६८६२५
- #lyrics #bhojpuri केतना करी हम बहाना...
छीनलस चैना गुजरे ना रैना,
केतना करी हम बहाना....।
उ चांद के जईसन चेहरा,
बन गईल हमारा ,अखियन के पेहरा....
का देखीं अब हम, कुछु नजर ना आवे,
याद बस ...ओकरे सतावे....
का कहीं बिन ओकरा , कुछउ कहाय ना.....
केतना करी हम बहाना...
छीनलस....... केतना....... ।
सच बा बिन ओकरा, हम जी ना सकिले,
कइसे कहीं केतना, भितरे हर पल तड़पीले....
अईसे बुझाला कहीं से, उ हमके बोलावे,
सब कुछ लउके एहीजा, बस उहे नजर ना आवे.....
सोच मत..आ, कुछ ना करी ई जमाना.....
केतना करी हम बहाना.....
छिनलस........ केतना....... ।
प्यार में तोहरा हो गईनी हम पागल,
रफ्ता रफ्ता दिन जिंदगी के..ढले लागल....
आस बा लागल एगो मीत के, प्रीत के जीत के....
बिछडन से तड़पन से जिनगी ना मिले,
आईल मौत कहीं ना....
केतना करी हम बहाना....
छीनलस...,. केतना...... ।
✍️Author Munna Prajapati
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नोट:- यदि आप इस गीत को व्यापारिक तौर पर रिकॉर्ड करके रिलीज करना चाहते हैं तो कर सकतें हैं परंतु हमारी अनुमति लेने के बाद, हमारी अनुमति अनिवार्य है । और भी किसी भी तरह के गीतों के लिए संपर्क करें । धन्यवाद🙏
- यादगार खिरनीबाग का दशहरा मेला
- शीर्षक :" ये मसला सिर्फ हँसी का है "
तु आसमा क्यु तकता है,
हर एक लफ्ज़ तो इस ज़मी का है ।
तु इतना क्यूँ सोचता है,
ये मसला सिर्फ हँसी का है ।
यू देख कर सितारों को,
क्यु नम करता है,पल्कों के किनारों को,
जरा देख इन खूबसूरत नजारों को,
बाग में और भी फुल हैं,
क्यु उलझा है, ये दुनिया का उसूल है,
खुद ब खुद भर जायेगा, तु फिकर ना कर,
भूल जा दिल के दरारों को ,
ये असर इश्क़ मे मयकशी का है..
तु आसमा क्यु तकता है,
हर एक लफ्ज़ तो इस जमी का है,
तु इतना क्यु सोचता है.... ।।
जो चले गए वो नही हैं , जिंदगी निवाहने वाले,
कोई और होगी रहगुजर, दुनिया बहुत बड़ी है,
बहोत मिलेंगे चाहने वाले,
तु खुद से ना खुद को इतना सता,
तेरी आँखों में कोई खोट नही
ये बात अपने दिल को तो बता,
अब यहाँ ऐसे ही होता है, कहाँ
अब कोई किसी के लिए रोता है,
खुद को मजबूत कर, उसको हटा,
रात गुजार, सुबह होते ही बाग मे
एक फुल खिल जायेगा,
यकीन कर, खुद पर, खुदा पर,
उससे बेहतर कोई मिल जायेगा,
तु बस उसी का नाम क्यु जपता है..
यूँ खामोशी मे आसमा क्यु तकता है,
सारा मसला तेरी मायूशी का है,
तु इतना क्यु सोचता है,
ये मसला सिर्फ हँसी का है ।।
तु जी कर तो देख पहले की तरह,
नजारों मे कोई कमी नही होगी,
मै लिख कर देता हूँ तुझको,
फिर कभी नजरों मे नमी नही होगी,
वहम है, सारे गम, हमी को है...
तु इतना क्यु सोचता है,
हर लफ्ज़ तो इस ज़मी का है ,
हुआ कुछ नही, ख़ाब भूल कर तो देख,
ये मसला सिर्फ तेरी हँसी का है.. ।।
( Don't copy please.. Share direct)
IG : @meri_lekhani_
Author Munna Prajapati
#post #poetry #poetrychallenge #poetrylovers #poem
- पांच बच्चों की मां का दर्द
- #lyrics #hindi आओ चलें कहीं दूर...
M- F- आओ चलें कहीं दूर चले.. जहाँ
हम हो तुम हो... और कोई दुजा ना मिले...
बड़ी मुश्किल से आया है प्यार का सावन...
बरस जाने दो.. के हम मिले.. दो फुल खिले...
आओ चलें कहीं दूर चले.. जहाँ...
हम हो तुम हो.. और कोई दूजा ना मिले......
F- आ तो सही देख जरा, मौसम है कितना सुहाना,
तेरे मेरे प्यार का अब तो, बन गया अफसाना,
M- आजा मै तुझे ,अपनी बाहों मे भर लूँ..
दिल है बेचैन, जी भर के प्यार तुझे कर लूँ...
F- हम हैं प्यार के पंछी सजन, चलते रहेंगे सदा,
यूही दिलों के शीलशीले...
M- F - आओ चलें कहीं दूर चलें.. जहाँ..
हम हो तुम हो.. और कोई दुजा ना मिले... ..
M- हम चल रहें हैं वहाँ, जहाँ
बस इश्क़ की बात हो,
बसायें एक नयी दुनिया,खिले वो गुल
जहाँ, हमारी मुलाकात हो,
F- एक तेरे प्यार की खातीर सजना,
मैंने छोड़ा है जमाना...
कहीं बिछड़ ना जाये हमसे हमदम,
आखिरी साँस तक साथ निभाना..
M- तु है रूह से जुड़ी, ये उम्र है तेरी,
सजनी.. गर मिले जिंदगी तेरे संग मिले...
F-M- आओ चले कहीं दूर चलें.. जहाँ..
हम हो तुम हो.. और कोई दुजा ना मिले....
✍️ Author Munna Prajapati
#virals #songwriter #songlyrics #songs #post #love #himeshreshammiya #viralpost2024
नोट : यदि आप इस गीत को व्यापारिक तौर पर रिकॉर्ड करके रिलीज करना चाहतें हैं तो कर सकतें हैं परंतु हमारी अनुमति लेने के बाद, हमारी अनुमति अनिवार्य है । धन्यवाद🙏 +९१७८९७८६८६२५
- #lyrics #hindi जो बीत गया,, वो क्यूँ याद रखा है..
जो बीत गया ,, वो क्यूँ याद रखा है,
जो दिख रहा है.. वो प्यार नही है
ये लबों की हंसी, ऐ मेरे हमनशीं..
और कितनो को, हमारे बाद रखा है ...
जो बीत गया.....
देखो तो जरा ,इन झूठी अखियोन मे,
छुपी है फरेब इसकी, हर बतियों मे...
कहा था हमसे, हम तो बस तुम्हारे हैं,
झाक कर जो देखा दिल मे उसके,
आशिक़ों की लंबी कतारें हैं.... ।
आशियाना लूट कर खुद को, आबाद रखा है...
और कितनों को, हमारे बाद रखा है,
जो बीत गया,, वो क्यूँ याद रखा है...
ना पेह्चान सके हम, फिसल गए उस
हंसिन चेहरे पर,
ना रोक पाया हमने , लगाया खुद को
उसके पेहरे पर....
कहा था हमसे, बस तुम हो एकलौते,
इस दिल के हक़दार,
बनाया उसने मुझे, अपने हुश्न का
पहरेदार... ।
जाने कितनों का लूट कर ,जायदाद रखा है.....
और कितनों को, हमारे बाद रखा है,
जो बीत गया,, वो क्यूँ याद रखा है......
किसी से कुछ कह भी नही सकते,
कितना रोतें हैं अंदर ही अंदर मे...
मेरा मेहबूब मेरा ना निकला,
कस्ती हमारी डूब गयी समंदर में.. ..
समंदर भी ना रख सका अपने अंदर,
किनारों पर छोड़ गया जिश्म से जान लेकर...
लूट गया एक बंदा होकर इश्क़ मे अंधा,
क्यूँ बदनाम करूँ मै उसको, बेवफ़ा नाम देकर.... ।
हमने तो प्यार के पंछी को आजाद रखा है.....
और कितनों को हमारे बाद रखा है,
जो बीत गया,, वो क्यूँ याद रखा है...
✍️ Author Munna Prajapati
#post #view #life #virals #sadness #sad #song #songwriter #songlyrics #love
नोट :- यदि आप इस गीत को व्यापारिक तौर पर रिकार्ड करके रिलीज करना चाहते हैं तो कर सकते है परंतु हमारी अनुमति लेने के बाद, हमारी अनुमति अनिवार्य है । धन्यवाद🙏
- #lyrics सीने से लग कर रोयेंगे 🎵🎶
मिले जो तुम गर हमसे,
सीने से लग के रोयेंगे...
सदियों गुजरे है कबसे,
सोई ना अखियाँ.... तुम्हारे
गोद में सर रख कर सोयेंगे... ।।
ये कैसा दस्तूर है दुनिया का,
करीब रखो तो दूर हो जाते हैं...
लम्हा बड़ी शख्त गुजरता है,
तन्हा रातों को हुजूर याद आतें हैं... ।
जो और फासले हुए गर तुमसे,
हम खुद को खोयेंगे....
मिले जो तुम गर हमसे,
सीने से लग कर रोयेंगे.... ।।
गए जब से तुम नये शहर,
राह तकती है तेरी ये नजर...
कब लौट आओगे मेरे हमसफर,
टूटने को है अब मेरा सबर..... ।
उठाकर देख लेना कफन तनसे,
किसी और का ना होएंगे...
मिले जो तुम गर हमसे,
सीने से लग कर रोयेंगे.... ।।
ढाया है वक़्त ने मुझपर,
सारे जहाँ का कहर.. ...
आती है हवा चिलमनो से भीतर,
बढ़ाती है सांसों का असर.....
हम शर्मिंदा हैं खुदसे,
अब उल्फत मे गम ना बोयेंगे...
मिले जो तुम गर हमसे,
सीने से लग कर रोयेंगे.... ।।
नोट: कोई अपनी आवाज देना चाहे, दे सकता है ।
हमे सूचित करके ।
Author Munna Prajapati
#post #virals #sad #love #new #writing #songlyrics #song #hindi #ghazals
- समय बहोत कीमती है, समझो :-
आज मैं आपसे एक ऐसी बात करूंगा जो शायद आपको चुभेगी, पर सच है। समय की कीमत न समझने से जिंदगी बर्बाद हो जाती है। आपके पास समय नही है यह पढ़ने के लिए मै जानता हूँ । नृत्य कलाओ (अर्धनग्न) को देख कर आँखे तृप्त होती हैं न आपकी, यही जीवन है और शायद आप यही तक सीमित रह जायेंगे । क्या आवश्यकता है कुछ करने की, कुछ सोचने की, जीवन तो कट ही रहा है और कट भी जायेगा ।
(१) कल्पना करो एक ऐसे शख्स की, जो हर रोज सोचता है - कल से सुबह जल्दी उठूंगा, एक्सरसाइज करूंगा। पर वो कल कभी नहीं आता। धीरे-धीरे वो मोटा होता जाता है, बीमार पड़ता है। और एक दिन डॉक्टर कहता है - अब बहुत देर हो गई।
(२) फिर सोचो उस लड़की/ लड़का के बारे में, जो हर दिन अपने पिता से कहती / कहता है - पापा, कल आपके साथ पार्क चलूंगी/ चलूँगा। पर वो कल कभी नहीं आता। एक दिन पिता चल बसते हैं, और वो लड़की पछताती रह जाती है।
(३) सोचो उस पति के बारे में, जो हर रोज अपनी पत्नी से कहता है - बस कुछ दिन और, फिर तुम्हारे साथ वक्त बिताऊंगा। पर वो दिन कभी नहीं आते। और एक दिन पत्नी किसी और के साथ चली जाती है, और वो अकेला रह जाता है।
ये सब कहानियां अलग-अलग लग सकती हैं, पर इनमें एक बात कॉमन है - समय की कीमत न समझना। समय हम सबके लिए कीमती है, अलग-अलग है परंतु है ।
हम क्या करते हैं ? हर पल को अगले पल के लिए जीते हैं। स्कूल में सोचते हैं कॉलेज के बारे में। कॉलेज में जॉब के बारे में। जॉब में रिटायरमेंट के बारे में। और फिर ? फिर वक्त खत्म हो जाता है।
समय किसी का इंतजार नहीं करता। वो बस बीतता जाता है, चुपचाप, लगातार। और एक दिन हम पीछे मुड़कर देखते हैं तो पाते हैं कि जिंदगी कब बीत गई, पता ही नहीं चला। वक़्त गुजर जाने के बाद पछतावा होता है कि काश मै वो कर लिया होता!
याद रखो, जिंदगी सिर्फ सांसों की गिनती नहीं है। ये उन पलों की गिनती है जो तुम्हारी सांस रोक दें। जो तुम्हें जीवंत महसूस कराएं।
तो क्या करें ???? 🤔
अभी जियो। हां, भविष्य के लिए प्लान करो, पर वर्तमान को मत भूलो। रोज कुछ ऐसा करो जो तुम्हें खुशी दे। खुशी मे सिर्फ खुद की खुशी नही होती कुछ अपनों की भी खुशी शामिल होती है । चाहे वो 5 मिनट ही क्यों न हो।
अपनों के साथ वक्त बिताओ। फोन रखो और उनसे बात करो। याद रखो, रिश्ते वक्त मांगते हैं, पैसे नहीं। और कोई रिश्ते ऐसे हैं भी जो सिर्फ पैसे मांगते है तो उन्हे वह भी देकर खुश रखो, उसमे क्या जाता है! परंतु एक सीमा मे ।
और सबसे जरूरी, खुद के लिए वक्त निकालो। वो किताब पढ़ो जो तुम पढ़ना चाहते थे। वो जगह घूमो जहां तुम जाना चाहते थे। हर व्यक्ति की खुशी किसी ना किसी एक चीज की जरूर होती है । शौक होती है कुछ खुद के लिए, अपने मन की खुशी के लिए करने की, वो जीवन जो तुम स्वतंत्रता से जीना चाहते हो । जियो, इन सबके लिए कुछ पल निकालो और जियो ।
क्योंकि अंत में, जब तुम पीछे मुड़कर देखोगे, तो तुम उन पलों को याद करोगे जो तुमने जिए, न कि उन पलों को जो तुमने टाले।
बहोत कीमती है इस जीवन का हर एक पल, कभी कोई एक पल भी बेवजह मत गुजरने दो । संभालो , संभलो और चलते रहो । कभी थकना नही, जो एक पल के लिए रुके, तुम मिलों दूर हो जाओगे । खयाल रहे ।
तो आज से, अभी से, इसी पल से जीना शुरू करो। क्योंकि कल किसने देखा है !
✍️ Author Munna Prajapati
- दिवाली का उपहार
- #poetry शिर्षक:" वो सबक थी मेरी जिंदगी का "
एक खूबसूरत, रंग बिरंगी तितली,
फूलों से उड़कर, मेरे जिशम् को
छुकर, उड़ गयी ।
जाने किस तरह, मेरी निगाहों से,
मेरे दिल में उतरकर, मुझसे,
मेरे सपनों से जुड़ गयी ।
खूब हसाती, बिलखाती, प्यार जताती,
हर पल, मेरे दिल के बाग़ीचे मे बिहार करती ।
मुझे लगा, फल है मेरी ,किसी बंदगी का,
मुझे लगा ये मेरी मोहब्बत है,
लेकिन वो सबक थी मेरी जिंदगी का... ।।
जाने क्या हुआ, जलता चराग़ धुआ हुआ,
जाने कैसी हवा लगी,
किस मौसम ने उसको छुआ ,
एक पल मे कोई अपना, सपना हुआ,
जाने कहाँ छिप गयी जाकर, एक उम्र तक
मेरी नजरों को तड़पना हुआ ।
कोई बहकाया या बहक गयी,
किसी और के बाग़ीचे मे जाकर, चेहेक गयी ।
रंग उतर गया मेरे चेहरे से, आशिकी का
मुझे लगा ये मेरी मोहब्बत है...
लेकिन वो सबक थी मेरी जिंदगी का ।।
मै अकेले अंधेरों मे, खामोश रहा,
उसकी वेदना मे मदहोश रहा ।
मैने सदिओं बाद, कलम कागज से साथ की,
दिल की हर बात लिखा, और फिर
खुद से बात की ।
अभी तक कोई इश्क़ का पैग़ाम नही आया,
वो मिटा ही नही, जो रंग दिल मे समाया,
दर्द, खामोशी, सबर, चिखना, सिसकना,
मैने बहोत कुछ सिखा...
जो कुछ भी मेरे हिस्से मे आया ।
मुझे लगा, वो मौजूदगी है मेरी, गैर मौजूदगी का
मुझे लगा, वो मेरी खुदा की इबादत है...
लेकिन नहीं.....
वो सबक थी मेरी जिंदगी का... ।।
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- #lyrics #bhojpuri हामार पटी पटीदार....
उ जे कुछु करे ,हमारा ना ,फरक प र ता,
हम जे कुछु करी , जरे काहें कुछ क र ता..... २
का केहु रही मिल जूल के भाई हो ,
हामार पटी पटिदारवा देखी ज र ता...... २
हमारा त लागे नाही ,चाहे भालाईं,
रोकल् चाहे सोचे ,हमसे आगे हो जाई... २
हमारा भगिया मे बाटे लिखल,
सुनs उहो ई बटो र ता..... २
का केहु रही मिल जुल के भाई हो,
हामार पटी पटिदारवा देखी ज र ता..... २
मेहरी के मालिक ,बना दिहलस घर के,
बोलिया कठोर नाहीं, लाज बा नजर के..... २
ई तs बाहरा काम करे, मुंशी गिरी
दूसरे क र ता.... २
का केहु रही मिल जुल के भाई हो,
हामार पटी पटिदारवा देखी ज र ता.... २
कहे रचित मीत ,कईसे बानायी,
बड़की रे चाची हामार ,बिया हरजाई... २
ना जाने काहें अपने अब
काटे धावे प र ता... ... २
का केहु रही मिल जुल के भाई हो,
हामार पटी पटिदारवा देखी ज र ता.... २
~ मुन्ना प्रजापति
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