रात को तकरीबन 11PM में।
चिराग और उसका दोस्त गुलशन, कार से बीयर बार में गया था चिराग और गुलशन दोनो खूब पि रहा था खूब एंजॉय कर रहा था।
तभी चिराग का नजर एक लड़की पे पड़ा! भोली भाली सी सूरत माथे पे बिंदी बाल को लहराते हुए एक अप्सरा की परी लग रही थी?
होंठ पे होंठलाली कितना हसीन चेहरा क्या कमाल लग रही थी खायेर छोरो।
उस लड़की का नाम कोमल था!( वहीं कॉलेज वाली लड़की जो रवि का गर्लफ्रेंड थी). चिराग कोमल को देख कर उसके कलेजा मचलने लगा और वहा से भागते हुए चिराग कोमल के पास गया ।
और कोमल के आगे टेबल पे बैठ गया। चिराग नसे में भूत था। चिराग को नसे बहुत जादा चढ़ गया था।
चिराग, कोमल से नसे में कहा, " हे आप कितनी हसीन हो.. ये होंठ... ये आंख .. आए हाय क्या गजब की ढाह रही हो। मन ता कर रहा है कि यही पे सु.. सुहाग.. रात माना लूं!."
फिर ओ लड़की कोमल चिराग को देखते हुए बोली, " अच्छा मैं इतना सुंदर हूं.. तो आप मेरे लिए एक काम करोगे !."
और कोमल वहा से उठ कर चिराग की तरफ बढ़ गई और गर्दन पे हाथ फेरते हुए लेफ्ट साइड से होकर पीछे की तरफ से होकर राइट साइड तक आई।
और चिराग गिड़गिड़ाते हुए कहा, "है.. क्या मुलायम हाथ है तेरा..? वो हो लगता है मेरा आज तू जान ले लेगी. क्या करना है? बोलो में तैयार हूं!."
कोमल, चिराग का बात सुन कर और एक रूम की तरफ बढ़ गई और पीछे की तरफ अपना सर करके आगे बढ़ते हुए सेक्सी अदा मैं हाथ से ईसरा करके चिराग को बुला रहा थी।
कोमल , चिराग को बुलाते हुए बोली, " कम हेयर डियर!."
कोमल रूम की अंदर प्रवेश कर गई। और चिराग भी उठ कर दारू का बॉटल लेकर उसी रूम में जाने के लिए चला था।
तभी एक दूसरे लड़का उस रूम के अंदर चला गया और वो लड़का अंंदर जा कर गेट बंद कर दिया;
चिराग, उस लड़का को अंदर जाते हुए देख लिया था। चिराग ये सीन देख कर दंग रह गया। और गेट के पास जाकर कान लगा कर गौर से सुन रहा था।
उस रूम के अंदर से सिर्फ लड़की की आहे की आवाज आ रही थी।
लड़की कमरे में जोर जोर से बोल रही थी, " आह...मुझे छोड़ दो प्लीज़ मुझे छोड़ दो!."
और फिर कुछ देर बोलने के बाद वो कोमल हस दी।
फिर कोमल आहे भरने लगी, " आह..आह.. ऊन..!."
चिराग बाहर से कोमल की बात सुन कर मन में घिनौना हरकत से बोला, " छीं कितनी गिरी हुई लड़की है!."
चिराग वहा से जाने लगा तभी रूम के अंदर से कुछ गिरने की अवाज आई और ओ लड़का जो अंदर गया था।
वो जोर से चिलाते हुए बोला, " आह..!."
फिर वो लड़का शांत हो गया। तभी चिराग मन में सोचते हुए बोला, "कुछ त गरबर है! देखने को कोशिश करतें है !."
चिराग वहा से दौर कर बाहर गया। चुपके से रूम के पीछे से चढ़ कर खिड़की खोल कर देखा तो ओ लड़का मर चुका था।
और कोमल वहा से बाहर निकल चुकी थी। खिड़की से अंदर का नजारा देख चिराग घबराने लगा था। और चिराग तेजी से जल्दी जल्दी उतरने लगा था,
सोचते हुए चिराग मन मैं बोला, " अच्छा किया में नही गया ..वरना आज में ही फसता!."
चिराग उतर कर जैसे बीयर बार के गेट पे गया । तो कोमल टोपी🧢 लगा कर बाहर निकल रही थी।
तभी चिराग का नजर पड़ा कोमल पे तो चिराग रुक कर और पीछे घूम कर जोर से पूछा, " हे... तुम कौन हो!."
कोमल, चिराग का बात सुन कर भागने लगी। और चिराग भी पीछे से कोमल को खेदने लगा।
कुछ दूर पे जाने के बाद कोमल एक कार में बैठ गई और अपना कार भागा दी।
तभी चिराग रुक कर हफ्ते हुए बोला, " कौन लड़की थी ये ... ऐसा क्यों की .. ये तो मुझे फसाने की चाल तो नही चल रही थी!."
चिराग सोचने लगा था बीच रोड पे तभी चिराग का एक दोस्त कार लेकर आया।
गुलशन को चिराग के पास रोक कर के खिड़की से बोला, " चिराग भाई बैठो जल्दी!."
चिराग भी बैठ गया और चिराग का दोस्त जिसका नाम था गुलशन कार का स्पीड बढ़ा दिया और कोमल का पीछा करने लगा कुछ दूर जाने के बाद कोमल का कार दिखा।
तो गुलशन भी अपना कार को रोक दिया ।और चिराग उतर कर कोमल के कार के पास गया!
तो कार मैं कोमल नही थी तो चिराग वहीं पे खड़ा होकर कार के इंजन पे हाथ रख कर सोचने लगा ।तभी पीछे से गुलशन एक चाकू लेकर आया।
और चुपके से चिराग को गुलशन चाकू मार दिया। चिराग का माइंड एकदम शॉट खा गया।
और मुंह घुमा कर देखा तो गुलशन ने दांत पीस कर चाकू को नचा दिया चिराग के पीठ में ही; तभी चिराग अपना हाथ पीछे करके गुलशन का गर्दन पकड़ लिया और गुलशन चाकू फिर से निकाल कर सामने से चिराग के पेट में मार दिया तभी चिराग अपने पेट पे हाथ रख कर वहीं पे गिर के बैठ गया।
और सक्साका कर चिराग? गुलशन से बोला, " इतना बड़ा धो..का दिया तूने.. आरे खुशी से बोलता मैं खुद जान दे देता...!."
तभी गुलशन चिराग का बात सुन कर हसने लगा और चिराग सोच कर कुछ बोला, " छी तेरे इस दोस्ती का.. तुम्हारे जैसा लोग के वजह से आज दोस्ती बदनाम है.. मुझे मरने से डर नही है.. गम इस बात की है की तुम जैसे घटिया के हाथ से ना मरू!."
तभी वो लड़की कोमल आ गई गुलशन के पास तो चिराग देख कर हस दिया।
और दोनो को देख कर चिराग इत्मीनान से बोला, " मुझे पता था। कि तुम दोनो मिले हो! क्यूं की इतने रात को सिर्फ तुमको ही पता था की हम बीयर बार मैं है..।और किसी को नहीं पता था!."
तभी गुलशन चिराग का बात सुन कर हस दिया। तभी एक कार आई और वही पे रुक गई और कुंदन उस कार से उतर कर चिराग की तरफ चल दिया(कुंदन झार कर साप स्टाईल में गुलशन के पास आया और गुलशन चिराग के पास बैठ कर बोला इतमीनान से बोला, " इसको तुम अच्छा दोस्त मानते हो.. तो ठीक हैं !लो इसी के हाथ से मर जावो!."
और गुलशन कुंदन के हाथ में चाकू दे दिया। तभी कुंदन चाकू लिया और डायरेक्ट दांत पीसते हुए चिराग के पेट में डाल दिया।
चिराग जोर से चीख दिया, " आह!."
चाकू मार कर साथ ही कुंदन बोला, " तुम्हारे वजह से हम लोग का नाम तक नहीं आता है। की हमने किडनैप किया है। या किसी को मारा है .. सारा काम करते है हम लोग! और नाम तुम्हारा होता है !."
तभी शिवम भी कुंदन और गुलशन के पास आया आया ( कोर्ट ब्लेजर ब्लैक चस्मा लगा कर)। और नीचे चिराग के सामने गोर पे बैठ गया ।और एक उंगली से खून को उठाते हुए शिवम बोला," इसे मार कर फेक दो पूल के नीचे!."
शिवम वहा से उठ कर चल दिया। तभी चिराग सुन कर हसने लगा? और बोला," तू क्या हमको मरेगा! .. खुद का देखो सब। कुत्ते के मौत मारे जावोगे !."
तभी कुंदन एक थापर जोर का चिराग के गाल पे मार दिया। शिवम खड़े खड़े वही पे रुक गया।
शिवम एक उंगली उप्पर करके बोला, " ये भी बता? मरने से पहिले कौन सुपारी दिया है?!." और शिवम वहा से चला गया कार की तरफ।
कुंदन हस कर बोला, " सोहैल भाई ने बोला है ।की तुझे मौत से मार देना है... और जब तू मर जायेगा तो हम लोग इस शहर का दबंग हो जायेंगे। और सोहैल भाई का राइट हैंड भी। और पांच करोड़ की इनाम भी रखा हैं!."
इतने में चिराग हसने लगा तभी कुंदन गुस्सा मैं आकर एक चाकू मार दिया चिराग को और चिराग बेहोश हो कर वहीं पे गिर गया।
तभी शिवम अपना कार को स्टार्ट कर के वहा से चला गया।और कुंदन, गुलश ,रवि और कोमल चारो चिराग को उठाया कर पूल की नीचे फेक दिया और सब कोमल के कार पे बैठ गया और वाहा से घर चल दिया।,
आपको क्या लगता है की चिराग मर गया था या जिंदा था। ये जवाब हम नही आप खुद पढ़ कर ढूंढ लीजिए गा। आखिर जो जिगरी दोस्त था वो अपने दोस्त को क्यू मारा जानने के लिए पढ़े "i am back!." और जुड़े रहिए pocket novel पर।
ओके बाय अब मिलते है नेक्स्ट एपिसोड में।😍😍😍