My name is Om Prakash. I love to read and write poem.
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बहुत कुछ देना चाहता था उसको,पर दगा दे गई मुझकोमेरी लाचारी और मेरी बीमारीवो जान से भी बढ़कर थी मुझे प्यारीलेकिन निभा ना सका मैं उससे अपनी यारी ।काट खाने को दौड़ती है ये रातकिसी से कहूं में अप